आधार कार्ड में आप कैसे दिखते हैं ?
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मेरे अभी तक की जिंदगी में ऐसा कोई भी आधार कार्ड नहीं देखा जिसमें प्रोफाइल फोटो अच्छी या संतोषजनक आई हो । क्या ऐसा कोई व्यक्ति नहीं मिला जिसे अपने आधार कार्ड वाले प्रोफाइल फोटो से संतुष्ट हो । शायद यह बात जानकर आपको भी थोड़ा संतोष मिल रहा होगा कि चलो मेरा ही नहीं सभी का आधार कार्ड में प्रोफाइल फोटो अच्छा नहीं आता ।
कोई कितना भी खूबसूरत क्यों न हो अक्सर आधार कार्ड में उसका प्रोफाइल फोटो काला, ब्लर, धुंधला, मोटा, पतला, सिकुड़ा ही आता है । कभी-कभी यह सोचता हूं कि राहुल गांधी, प्रधानमंत्री मोदी, सलमान, जॉन अब्राहम जैसे लोगों की फोटो कैसा आया होगा ।
शायद ऐसे सेलिब्रिटी लोगों का फोटो अच्छा आया होगा क्योंकि वह सोच सेलिब्रिटी हैं और वह अच्छे कैमरे वाले के पास गए होंगे । तो आइए समझते हैं कि आखिर आधार कार्ड में फोटो अच्छे क्यों नहीं आते ? आधार कार्ड में खराब फोटो आने की 3 वजह होती हैं
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1. खराब और सस्ते कैमरे का इस्तेमाल
अक्सर देखने में आता है कि जब भी आधार कार्ड बनवाने जाते हैं तो देखते हैं कि कैमरा या वेब कैम बहुत ही सस्ती क्वालिटी का होता है । इतना घटिया कैमरा इस्तेमाल किया जाता है कि चाह कर भी उस फोटो को अच्छा या खूबसूरत नहीं बनाया जा सकता ।
इसके कई वजह हो सकते हैं, सेंटर पर जो आधार कार्ड बनाने वाला व्यक्ति होता है या तो उसके पास इतनी आमदनी नहीं होती या फिर वह कैमरे के लिए ज्यादा खर्च नहीं करना चाहता । ऐसा सुनने में आता है कि आधार कार्ड सेंटर वालों को ज्यादा पैसा नहीं मिलता इसलिए वे लोग सबसे कम खर्च वाला कैमरे का इस्तेमाल करते हैं ।
2. सामान्य लाइट और स्टूडियो
आखरी बार जब आधार कार्ड सेंटर पर गए होंगे तो आपने जरूर देखा होगा कि वहां सिर्फ एक या दो बल या फिर ट्यूबलाइट लगा होता है जो एक अच्छी फोटो के लिए अच्छा नहीं होता या फिर पीछे का बैकग्राउंड इतना डल या ब्लर होता है कि उसकी रोशनी सीधे कैमरे पर पड़ती है और चेहरे का रंग खराब हो जाता है ।
जहां अधार कार्ड बनता है वह कोई स्टूडियो जैसा नहीं होता ना ही स्टूडियो जैसी व्यवस्था होती है । और तो और फ्लैश लाइट की व्यवस्था भी नहीं होती । होगी भी क्यों अधार कार्ड सेंटर पर इतनी आमदनी होती ही कहां है जिसे फ्लैशलाइट खरीदी जा सके ।
3. स्टोरेज की कमी या कंप्रेस डाटा
हमारे भारत में अब तक 125 करोड़ से अधिक लोगों का आधार कार्ड बनाया जा चुका है । जिनका संग्रह करना बहुत ही मुश्किल भरा काम होता है कभी-कभी कंप्यूटर इतना स्टोरेज एक्सेप्ट नहीं कर पाता ऐसे में डाटा को कंप्रेस करना पड़ता है जिससे ज्यादा से ज्यादा डाटा कम स्पेस में सेब किया जा सके ।
ऐसी स्थिति में फोटो की क्वालिटी कम हो जाती है क्योंकि जब एक फोटो को कंप्रेस किया जाता है तो वह बहुत छोटी हो जाती है इसलिए फोटो बद्दी या अटपटी दिखने लगती है ।
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इस तरह से ऐसे बहुत से कारण होते हैं जिससे फोटो अच्छी नहीं आती जैसे कि कैमरामैन का प्रशिक्षित ना होना, फोटो रिटेक ना होना, फोटो जिम्मेदारी के साथ ना खींचना, लापरवाही बरतना इत्यादि ।